प्रारम्भिक परीक्षा – फ्रांस में 70 मिलियन साल पुराने टाइटनोसॉर के कंकाल की खोज मुख्य परीक्षा - सामान्य अध्ययन, पेपर- 3 ( पर्यावरण एवं जैव-विविधता) |
संदर्भ
हाल ही में फ्रांस में 70 मिलियन साल पुराने एक टाइटनोसॉर के जीवाश्म की खोज की गई है।
प्रमुख बिंदु
- इस विशाल जीवाश्म की खोज मई 2022 में जीवाश्म विज्ञानी डेमियन बोशेटो ने दक्षिण फ्रांस के क्रूज़ी गांव के मोंटौलीर्स जंगल में की।
- यह जीवाश्म लगभग 10 मीटर लंबे (32.8 फुट लंबे) टाइटनोसॉर का है।
- हाल ही में सामने आए 70% पूर्ण टाइटेनोसॉर कंकाल को खुदाई के दौरान विभिन्न डायनासोर और कशेरुकियों के जीवाश्मों के जीवाश्म भी प्राप्त हुए हैं।
- इनमें रबडोडन (टाइटेनोसौर के समान एक शाकाहारी जानवर) और थेरोपोड और मगरमच्छ जैसे मांसाहारी जानवरों के कंकाल के जीवाश्म भी प्राप्त हुए हैं।
- टाइटेनोसॉर का कंकाल वर्तमान में आगे के अध्ययन के लिए क्रूज़ी संग्रहालय की प्रयोगशाला में रखा गया है।
- इससे पहले टाइटेनोसौर के जीवाश्म यूरोप में पाए गए हैं।
- इससे यह खोज विशेष रूप से महत्वपूर्ण हो गई है।
- इसके पूरे नमूने की खोज से यह निर्धारित किया जा सकेगा कि यह एक नई प्रजाति का प्रतिनिधित्व करता है या किसी ज्ञात प्रजाति का।
टाइटेनोसॉर:-
- यह सॉरोपॉड डायनासोर परिवार से संबंधित हैं।
- यह पृथ्वी पर 16.35 करोड़ साल से लेकर 6.6 करोड़ साल पहले पाए जाते थे अर्थात जुरासिक युग से लेकर क्रेटेशियस अवधि के अंत तक।
- यह लंबी गर्दन वाले शाकाहारी जीव हैं।
- यह लगभग 10-24 मीटर लम्बे होते हैं और इनका वजन लगभग 40 टन से अधिक होता है।
- इसके जीवाश्म अर्जेंटीना,ऑस्ट्रेलिया,यूरोप एवं भारत आदि देशों में पाए गए हैं।
- मध्य प्रदेश के धार जिले के डायनासोर फॉसिल नेशनल पार्क में टाइटानोसॉर के अंडे पाए गए हैं।
विलुप्त होने का कारण
- डायनासोर की लगभग 2000 से अधिक प्रजातियाँ अस्तित्व में थीं।
- वैज्ञानिकों और शोधकर्ताओं द्वारा डायनासोर के विलुप्त होने के बारे में कई सिद्धांत दिये गए हैं।
- उल्का पिण्ड : वज्ञानिकों का मानना है कि एक विशाल उल्का पिण्ड पृथ्वी से टकराया, जिससे वातावरण में घातक गैस, वाष्पीकृत चट्टान और धूल से भर गए।
- इसके पश्चात् एक विनाशकारी परिवर्तन हुआ जो वर्षों तक चलता रहा, जिससे बहुत से जीवों का जीवन समाप्त हो गया।
- इसके साक्ष्य में मेक्सिको के तट पर पाया गया 93 मील चौड़ा गड्ढा शामिल है। जो इस सिद्धांत का समर्थन प्रदान करता है।
- ज्वालामुखी : अलग- अलग जगह पर हुए ज्वालामुखी विस्फोट से हजारों वर्षों में, वायुमंडल में प्रवेश करने वाली धूल और राख धीरे-धीरे इतनी मोटी हो गई कि इसने सूर्य के प्रकाश को अवरुद्ध कर दिया जिससे पेड़ एवं पौधे समाप्त हो गए।
- इसके परिणामस्वरूप पौधे पर आश्रित रहने वाले डायनासोर की प्रजतियों का अस्तित्व समाप्त हो गया।
प्रारंभिक परीक्षा प्रश्न : निम्नलिखित कथनों पर विचार कीजिए :
- हाल ही में फ्रांस में 70 मिलियन साल पुराने एक टाइटनोसॉर के जीवाश्म की खोज की गई है।
- यह जीवाश्म लगभग 10 मीटर लंबे (32.8 फुट लंबे) टाइटनोसॉर का है।
- इससे पहले टाइटेनोसौर के जीवाश्म यूरोप कभी नहीं पाए गए हैं।
उपर्युक्त में से कितने कथन सही हैं?
(a) केवल एक
(b) केवल दो
(c) सभी तीन
(d) कोई भी नहीं
उत्तर (b)
|
स्रोत : TIMES OF INDIA