(मुख्य परीक्षा: सामान्य अध्ययन प्रश्न पत्र- 3: संरक्षण, पर्यावरण प्रदूषण और क्षरण, पर्यावरण प्रभाव का आकलन।)
संदर्भ
हाल ही में, तमिलनाडु के डिंडीगुल ज़िले में सिरुमलाई पहाड़ी क्षेत्र में एक अद्वितीय जैव विविधता पार्क का विकास किया जा रहा है।
प्रमुख बिंदु
- इस जैव विविधता पार्क को स्थापित करने का मुख्य उद्देश्य पारिस्थितिक रूप से संवेदनशील क्षेत्र के सतत प्रबंधन के लिये जागरूकता पैदा करना है। साथ ही, जनता के बीच सांस्कृतिक, शैक्षिक एवं जैव विविधता मूल्यों को विकसित करना है।
- विदित है कि राज्य के वन मंत्री ने 2019-22 के दौरान विधान सभा में पार्क के विकास के लिये 5 करोड़ रुपये की राशि स्वीकृत की है।
सिरुमलाई पहाड़ी
- यह पहाड़ी डिंडीगुल ज़िले में 60,000 एकड़ के क्षेत्र में विस्तृत है। ये डिंडीगुल शहर से लगभग 25 किलोमीटर की दूरी पर, समुद्र तल से 400 से 1,650 मीटर की ऊँचाई पर स्थित हैं।
- निचली पहाड़ी श्रृंखला में अत्यधिक अशांत झाड़ीदार वन पाए जाते हैं जबकि मध्य पहाड़ी श्रृंखला पर उष्णकटिबंधीय मिश्रित शुष्क पर्णपाती वन तथा उच्च पहाड़ी श्रृंखला पर अर्ध सदाबहार वन पाए जाते हैं। इस पहाड़ी श्रृंखला में कई दुर्लभ और स्थानिक पौधों की प्रजातियाँ पाई जाती हैं।
- इस क्षेत्र में गौर, तेंदुआ, चित्तीदार हिरण, माउस हिरण, सियार, स्लोथ बियर, जंगली सूअर, भारतीय पैंगोलिन तथा सरीसृप की कई प्रजातियां पाई जाती है।
क्या है जैव विविधता पार्क
जैव विविधता पार्क वन का एक अनूठा परिदृश्य है जहाँ एक क्षेत्र में जैविक समुदायों के रूप में देशी पौधों और वन्य जीवों की प्रजातियों के पारिस्थितिक संयोजन को स्थापित किया जाता है। यह पार्क एक प्रकृति आरक्षित क्षेत्र है जो प्राकृतिक विरासत को संरक्षित करता है।
जैव विविधता पार्क के उद्देश्य
- पर्यटन संभावनाओं में सुधार के साथ-साथ दुर्लभ प्रजातियों के पेड़ों, पौधों और झाड़ियों के संरक्षण में सहायक सिद्ध होना।
- जैव विविधता और इसके महत्त्व के बारे में वन हितधारकों, जनता एवं छात्र समुदाय के मध्य जागरूकता को बढ़ावा देना।
- दुर्लभ एवं स्थानिक प्रजातियों के संरक्षण हेतु जीन बैंक को बनाया जाना।
- ग्लोबल वार्मिंग और जलवायु परिवर्तन की समस्याओं को कम करने के लिये स्वदेशी प्रजातियों के साथ कार्बन सिंक को बनाना।
- स्थानीय समुदायों के लिये आजीविका के अवसर पैदा करना।