चर्चा में क्यों?
- अंतर्राष्ट्रीय वित्तीय सेवा केंद्र प्राधिकरण (IFSCA) द्वारा गुजरात इंटरनेशनल फाइनेंस टेक-सिटी-इंटरनेशनल फाइनेंशियल सर्विसेज सेंटर (GIFT-IFSC) में वित्तीय उत्पादों और वित्तीय सेवाओं को विकसित करने के उद्देश्य से डिपॉज़िटरी रसीद (DRs) को सूचीबद्ध करने हेतु एक विनियामक ढांचा निर्धारित किया गया है।
- इन नियमों के लागू होने के बाद फाइनेंशियल एक्शन टास्क फोर्स (FATF) में सूचीबद्ध कम्पनियाँ किसी भी एक्सचेंज में अपनी डिपॉज़िटरी रसीद को सूचीबद्ध करने के साथ-साथ स्टॉक एक्सचेंज पर ट्रेडिंग कर सकेंगी। कम्पनियों को ऐसा करने के लिये अलग से कोई पब्लिक ऑफर नहीं लाना होगा। कम्पनियों के लिये ट्रेंडिंग का यह एक अतिरिक्त माध्यम होगा।
- ये कम्पनियां जी.आई.एफ.टी.- आई.एफ.एस.सी. के स्टॉक एक्सचेंज में डी.आर.को सूचीबद्ध कराने के साथ ही बाज़ार से पूँजी भी जुटा सकेंगी। अब एफ.ए.टी.एफ. के दायरे में आने वाली सूचीबद्ध कम्पनियों के लिये डिपॉज़िटरी रसीद लाना आसान हो जाएगा।
- आई.एफ.एस.सी.ए. द्वारा जारी डिसक्लोज़र फ्रेमवर्क के अनुसार पहले से सूचीबद्ध कम्पनियों के समान इन कम्पनियों को भी वित्तीय विवरण, उत्पाद व कीमत जैसी संवेदनशील जानकारी, शेयरहोल्डिंग पैटर्न, डिपॉज़िटरी में बदलाव और कॉर्पोरेट बदलाव की जानकारी जी.आई.एफ.टी.- आई.एफ.एस.सी. को देनी होगी। कम्पनियों को अलग से कोई नियामकीय ज़रूरतों को पूरा करने की आवश्यकता नही होगी।
डिपॉज़िटरी रसीद के बारे में
- डिपॉज़िटरी रसीद (DR) किसी बैंक द्वारा जारी एक भौतिक व परक्राम्य प्रपत्र (Negotiable Instrument) होता है, जो स्थानीय स्टॉक एक्सचेंज में कारोबार करने वाली विदेशी कम्पनी के शेयर का प्रतिनिधित्व करता है। ये विदेशी बाज़ारों में सीधे स्टॉक खरीदने की तुलना में कम खर्चीली और अधिक सुविधाजनक है।
- डिपॉज़िटरी रसीद निवेशकों को विदेशी कम्पनियों की इक्विटी में शेयर खरीदनें तथा अंतर्राष्ट्रीय बाज़ार में ट्रेडिंग का विकल्प देकर अपने पोर्टफोलियो में विविधता लाने का अवसर देता है।
- ये रसीद निवेशकों को विदेशी बाज़ार में व्यापार करने की आवश्यकता के बिना विदेशी कम्पनियों के इक्विटी शेयर को रखने की अनुमति देती हैं। ध्यातव्य है कि अमेरिकी डिपॉज़िटरी रसीद (ADR) डिपॉज़िटरी रसीद के सबसे सामान्य प्रकारों में से एक है, जो 1920 से कम्पनियों, निवेशकों और व्यापारियों को वैश्विक निवेश के अवसर प्रदान कर रहा है।