चर्चा में क्यों
हाल ही में, सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया द्वारा निर्मित देश का पहला क्वाड्रीवेलेंट ह्यूमन पेपिलोमावायरस (Human Papillomavirus : HPV) टीका बाजार प्राधिकरण के लिये भारतीय औषधि महानियंत्रक (Drug Controller General of India: DCGI) द्वारा अनुमोदित किया गया है ।
क्या है एच.पी.वी.
- एच.पी.वी. एक सामान्य विषाणु है, जो असुरक्षित यौन संबंधों से एक व्यक्ति से दूसरे व्यक्ति में फ़ैलता है।
- कुछ प्रकार के एच.पी.वी. का लंबे समय तक संक्रमण सर्वाइकल कैंसर का मुख्य कारण है।
- इंडियन जर्नल ऑफ गाइनेकोलॉजिकल ऑन्कोलॉजी (दिसंबर 2021) की एक रिपोर्ट के अनुसार, वर्ष 2020 में भारत में सर्वाइकल कैंसर सभी कैंसर का 9.4% और नए मामलों का 18.3% (1,23,907) था।
सर्वाइकल कैंसर
- सर्वाइकल कैंसर काफी हद तक उपचार योग्य होने के बावजूद भारत में महिलाओं में कैंसर का दूसरा सबसे सामान्य कैंसर है।
- सर्वाइकल कैंसर से संबंधित अधिकांश मौतें निम्न और मध्यम आय वाले देशों में होती हैं, जहाँ नियमित रूप से स्त्री रोग संबंधी जाँच न्यूनतम या न के बराबर होती है।
एच.पी.वी. टीका
- यह महिलाओं में सर्वाइकल कैंसर के इलाज के लिये पहली स्वदेशी, सस्ती और सुलभ एच.पी.वी. टीका है।
- यह टीका महिलाओं में विशेष रूप से सभी किशोरियों को सर्वाइकल कैंसर से बचाने के लिये बहुत महत्वपूर्ण है।
- यह टीका एच.पी.वी. टाइप 6, 11, 16 और 18 के कारण होने वाले कैंसर की रोकथाम सुनिश्चित करेगा।
- सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ़ इंडिया के अनुसार, इस वर्ष के अंत तक इस टीके के लॉन्च होने की संभावना है।
विश्व स्वास्थ्य संगठन का पक्ष
- विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) के अनुसार, यदि सर्वाइकल कैंसर का सही समय पर पता चल जाए तथा इसका प्रभावी ढंग से इलाज किया जाए, तो इसका उपचार संभव है।
- डब्ल्यू.एच.ओ. ने वर्ष 2030 तक सर्वाइकल कैंसर उन्मूलन का लक्ष्य भी निर्धारित किया है।
- इस लक्ष्य के अनुसार 90% बालिकाओं को 15 वर्ष की आयु तक एच.पी.वी. वैक्सीन के साथ पूर्ण टीकाकरण किया जाना चाहिये, जबकि 70% महिलाओं की 35 वर्ष की आयु तक तथा पुन: 45 वर्ष की आयु में उच्च प्रदर्शन परीक्षण के साथ जाँच की जानी चाहिये।