संदर्भ
इटली के फसानो शहर में 13-15 जून 2024 तक 50वें G7 शिखर सम्मेलन में भाग लेने के लिए पुनः निर्वाचित होने के बाद प्रधानमंत्री मोदी ने अपनी पहली विदेश यात्रा की। हाल के वर्षों में, प्रधानमंत्री मोदी और उनकी इतालवी समकक्ष जॉर्जिया मेलोनी के नेतृत्व में भारत और इटली के बीच द्विपक्षीय संबंधों में तेज़ी देखी गई है।
भारत-इटली संबंध : ऐतिहासिक पृष्ठभूमि
- प्राचीन काल : भारत और इटली प्राचीन सभ्यताएं हैं जो 2,000 से अधिक वर्षों से आपस में सांस्कृतिक आदान-प्रदान और व्यापार द्वारा एक-दूसरे के संपर्क में रही हैं।
- डायोडोरस सिकुलस की ‘लाइब्रेरी ऑफ़ हिस्ट्री’, एरियन की ‘इंडिका’ और प्लिनी द एल्डर की ‘नेचुरल हिस्ट्री’ जैसी कृतियों में भारत का उल्लेख मिलता है।
- प्राचीन भारतीय बंदरगाहों पर इटली की प्राचीन सभ्यता के सिक्कों के प्रमाण मिले हैं।
- मध्यकाल : इटली के यात्री मार्को पोलो ने अपने यात्रा वृत्तांत ‘द ट्रैवल्स ऑफ़ मार्को पोलो’ में 13वीं शताब्दी के उत्तरार्द्ध के भारत में जीवन और रीति-रिवाजों का वर्णन किया है।
- निकोलो कोंटी विजयनगर साम्राज्य के राजा देवराय के शासनकाल में 1420-21 ई. में भारत आया था।
- मध्यकाल में इतालवी बंदरगाह शहर मसाला मार्ग पर महत्वपूर्ण व्यापारिक केंद्र थे।
- ब्रिटिश भारत : ब्रिटिश राज के दौरान, तत्कालीन राजनीतिक परिस्थितियों के कारण भारत और इटली के बीच व्यापार और यात्रा में काफी कमी आई।
- गैसपेरे गोरेसियो ने 1852 में ट्यूरिन विश्वविद्यालय में इटली में संस्कृत की पहली पीठ स्थापित की और 1843-58 के बीच रामायण के इतालवी में अनुवाद को दस खंडों में “पोएमा इंडियनो डी वाल्मीची” के नाम से प्रकाशित किया।
- भारतीय स्वतंत्रता सेनानियों को प्रेरित करने में इतालवी एकीकरण आंदोलन और इटली ग्यूसेप मेज़िनी की रचनाओं का महत्वपूर्ण योगदान है।
- रोम विश्वविद्यालय में संस्कृत के प्रोफेसर कार्लो फॉर्मिची के निमंत्रण पर रवींद्रनाथ टैगोर ने मई-जून 1926 में इटली का दौरा किया।
- गांधी जी ने गोलमेज सम्मेलन से भारत लौटते समय दिसंबर 1931 में रोम का दौरा किया।
- भारतीय सेनाओं ने इटली को नाजी नियंत्रण से मुक्त कराने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।
वर्तमान संबंधों के आयाम
राजनयिक संबंध
- भारत और इटली के बीच राजनयिक संबंध 1947 में स्थापित हुए थे। दोनों देशों के बीच राजनीतिक और आधिकारिक स्तरों पर यात्राओं का नियमित आदान-प्रदान होता रहा है।
- जवाहरलाल नेहरू पहले प्रधान मंत्री थे जिन्होंने 1953 में इटली का दौरा किया था और इटली के राष्ट्रपति ऑस्कर लुइगी स्काल्फ़ारो फरवरी 1995 में भारत आने वाले पहले इतालवी राष्ट्राध्यक्ष थे।
- तनाव का दौर : वर्ष 2012 में केरल के तट पर दो मछुआरों की हत्या के आरोप में दो इतालवी नौसैनिकों के गिरफ़्तारी के दोनों देशों के संबंधों में तनाव जैसी स्थिति बनी।
- हालाँकि, वर्ष 2017 में दोनों देशों के प्रधानमंत्री पाओलो जेंटिलोनी और नरेंद्र मोदी ने सामान्य संबंधों को पुनर्जीवित किया।
मजबूत द्विपक्षीय संबंध की पुनर्स्थापना
- प्रधानमंत्री मोदी और उनके समकक्ष कोंते ने 06 नवंबर 2020 को भारत और इटली के बीच वर्चुअल शिखर सम्मेलन की सह-अध्यक्षता की और द्विपक्षीय, क्षेत्रीय और वैश्विक मुद्दों पर व्यापक चर्चा की।
- 2020-25 कार्य योजना को अपनाया गया और ऊर्जा, मीडिया, वित्त, जहाज निर्माण जैसे क्षेत्रों को कवर करने वाले कुल 15 समझौता ज्ञापनों पर हस्ताक्षर किए गए।
- 2-3 मार्च 2023 को भारत और इटली के बीच राजनयिक संबंधों की स्थापना की 75 वीं वर्षगांठ की पृष्ठभूमि में इटली की प्रधान मंत्री जियोर्जिया मेलोनी ने भारत की अपनी पहली राजकीय यात्रा की।
- इस दौरान दोनों देशों ने हरित अर्थव्यवस्था, ऊर्जा सुरक्षा और संक्रमण, रक्षा सह-उत्पादन और सह-नवाचार, नीली अर्थव्यवस्था को बढ़ावा देने पर सहमति व्यक्त की।
- यात्रा का प्रमुख परिणाम द्विपक्षीय संबंधों को रणनीतिक साझेदारी के स्तर तक बढ़ाना था।
- 50वें G7 शिखर सम्मेलन के समानांतर, इतालवी प्रधान मंत्री जियोर्जिया मेलोनी ने भारतीय प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी के बीच रक्षा सहयोग को मजबूत करने, व्यापार और निवेश को बढ़ाने, आतंकवाद का मुकाबला करने और हिंद-प्रशांत क्षेत्र से संबंधित मुद्दों पर व्यापक चर्चा की गई।
आर्थिक संबंध
- इटली यूरोपीय संघ में भारत का चौथा सबसे बड़ा व्यापारिक साझेदार है।
- इटली के साथ भारत का 2021-22 में द्विपक्षीय व्यापार $13.229 बिलियन था, जो पिछले वित्तीय वर्ष की तुलना में 50% से अधिक की वृद्धि है।
- अप्रैल 2000 से दिसंबर 2022 तक $3.25 बिलियन के संचयी एफ.डी.आई. प्रवाह के साथ इटली भारत में 17वां सबसे बड़ा विदेशी निवेशक है।
- एफ.डी.आई. आकर्षित करने वाले शीर्ष क्षेत्र - ऑटोमोबाइल (29.8%), ट्रेडिंग (17.1%), औद्योगिक मशीनरी (5.6%), सेवाएँ (5.1%), विद्युत उपकरण (4.6%)।
- 2021 तक भारत से इटली में विदेशी प्रत्यक्ष निवेश का स्टॉक $401 मिलियन के स्तर पर है।
- भारत में 600 से अधिक बड़ी इतालवी कंपनियां सक्रिय हैं, जो विभिन्न क्षेत्रों में काम करती हैं।
रक्षा संबंध
- मार्च 2023 में इटली की प्रधानमंत्री जियोर्जिया मेलोनी की भारत यात्रा के दौरान भारत और इटली ने द्विपक्षीय संबंधों को रणनीतिक साझेदारी के स्तर तक बढ़ाने में सहमती व्यक्त की थी।
- अक्टूबर 2023 में रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह की इटली-यात्रा के दौरान भी रक्षा सहयोग पर समझौता ज्ञापन नवीनीकृत किया गया था।
- इससे पहले इटली के रक्षा राज्य मंत्री डॉ. माटेओ पेरेगो डि क्रेम्नागो ने फरवरी 2023 में एयरो इंडिया शो में इतालवी प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व किया।
- साथ ही रक्षा सहयोग पर समझौता ज्ञापन समुद्री सुरक्षा बढ़ाने और हिंद महासागर क्षेत्र में समुद्री डकैती रोधी अभियानों का मुकाबला करने के लिए फरवरी 2023 में सूचना संलयन केंद्र-हिंद महासागर क्षेत्र (आईएफसी-आईओआर) के लिए अपने दूतावास से एक अधिकारी को भी तैनात किया है।
सांस्कृतिक एवं शैक्षिक संबंध
- 1976 में हस्ताक्षरित सांस्कृतिक सहयोग समझौते को जुलाई 2004 में एक नए समझौते द्वारा प्रतिस्थापित किया गया था।
- द्विपक्षीय सांस्कृतिक समझौते के तहत सांस्कृतिक सहयोग/सांस्कृतिक आदान-प्रदान कार्यक्रम के लिए एक कार्यकारी कार्यक्रम पर समय-समय पर हस्ताक्षर किए जाते रहे हैं।
- इटली में विश्वविद्यालयों/उच्च शिक्षा संस्थानों में भारतीय कला, इतिहास और भाषाओं में पाठ्यक्रम संचालित किए जाते हैं।
- सितंबर 2011 में रोम के ‘ला सैपिएंजा’ विश्वविद्यालय में आधुनिक भारतीय इतिहास पर भारतीय सांस्कृतिक संबंध परिषद (ICCR)की एक पीठ की स्थापना भी की गई थी।
- आई.सी.सी.आर., नई दिल्ली और नेपल्स एल’ ओरिएंटेल विश्वविद्यालय के बीच समझौता ज्ञापन पर 22 अप्रैल, 2021 को हस्ताक्षर किए गए।
बहुपक्षीय संबंध
- इटली ने अंतर्राष्ट्रीय न्यायालय, यूनेस्को कार्यकारी बोर्ड, अंतर्राष्ट्रीय समुद्री संगठन और एफ.ए.टी.एफ. सहित महत्वपूर्ण चुनावों में भारत को समर्थन दिया है।
- वासेनार व्यवस्था और ऑस्ट्रेलिया समूह में भी भारत के प्रवेश का समर्थन किया।
- न्यूयॉर्क में 74वीं महासभा में भारत के प्रधानमंत्री द्वारा घोषित आपदा रोधी अवसंरचना गठबंधन की स्थापना के लिए भारत की पहल और प्रशासनिक एवं बजटीय प्रश्नों पर सलाहकार समिति के लिए भारत की उम्मीदवारी का समर्थन किया।
- इटली 17 मार्च 2021 को अंतर्राष्ट्रीय सौर गठबंधन (ISA) सदस्य बना।
इटली में भारतीय समुदाय
- इटली में भारतीय समुदाय (पीआईओ सहित अनुमानित 180,000) ब्रिटेन और नीदरलैंड के बाद यूरोप में भारतीयों का तीसरा सबसे बड़ा समुदाय है।
- आधिकारिक इतालवी डेटा के अनुसार, जनवरी 2019 तक 1.62 लाख वैध भारतीय प्रवासी हैं।
- इनमें 58.8% पुरुष और 41.2% महिलाएँ हैं, जो गैर-ईयू नागरिकों का 4.4% और इटली में 5वां सबसे बड़ा विदेशी समुदाय है।
- पहली पीढ़ी के प्रवासियों के रूप में, उनमें से अधिकांश कृषि, डेयरी फार्मिंग, चमड़ा उद्योग, निर्माण कार्यों और सेवा उद्योग जैसे आर्थिक क्षेत्रों में लगे हुए हैं।
भविष्य की राह
- भारतीय प्रधान मंत्री मोदी एवं इतालवी प्रधानमंत्री मेलोनी के नेतृत्व में भारत और इटली के बीच द्विपक्षीय संबंधों में भविष्य में और अधिक तेजी से बढ़ने की सम्भावना है।
- भारत और इटली संयुक्त उद्यम, अनुसंधान और विकास, प्रौद्योगिकी हस्तांतरण, स्वच्छ प्रौद्योगिकी, नवीकरणीय ऊर्जा, सूचना और संचार प्रौद्योगिकी, स्वास्थ्य सेवा, एयरोस्पेस, शिक्षा और सांस्कृतिक विरासत पर सहयोग को गहरा करने पर जोर दे रहे हैं।
- इटली भारत के साथ अपने रक्षा संबंधों को पुनर्जीवित करने की कोशिश कर रहा है।
- इटली यूरोपीय संघ की इंडो-पैसिफिक रणनीति के हिस्से के रूप में भारत के साथ साझेदारी बढ़ा रहा है और चीन की बेल्ट एंड रोड पहल से इटली के हटने से द्विपक्षीय संबंधों को और बढ़ावा मिला है।