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भारतीय गौर (Indian bison)

संदर्भ

हाल ही में, पुणे में मानव-पशु संघर्ष के दौरान एक गौर की मृत्यु हो गई।

भारतीय गौर: वास स्थान

  • भारतीय गौर दक्षिण एवं दक्षिण-पूर्व एशिया के जंगलों की पहाड़ियों और घास वाले क्षेत्रों में पाए जाते हैं। ये मुख्य रूप से भारत, चीन, थाईलैंड, मलेशिया, बांग्लादेश, भूटान और नेपाल में मिलते हैं।
  • भारत में गौर मुख्य रूप से पश्चिमी घाट, मध्य भारत और उत्तर-पूर्व के जंगलों में पाए जाते हैं। पश्चिमी घाट के वायनाड, नागरहोल, मुदुमलाई, बांदीपुर आदि क्षेत्र गौर के वास स्थान के लिये विशेष रूप से महत्त्वपूर्ण हैं।
  • महाराष्ट्र में गौर मुख्य रूप से सह्याद्री पर्वतमाला और मध्य प्रदेश से सटे वन क्षेत्रों में पाए जाते हैं।

वर्तमान स्थितिindian-bison

  • यह अंतर्राष्ट्रीय प्रकृति संरक्षण संघ (IUCN) की रेड लिस्ट में वर्ष 1986 के बाद से 'सुभेद्य' (Vulnerable) श्रेणी में सूचीबद्ध है।
  • भारत सरकार ने इसे वन्यजीव संरक्षण अधिनियम, 1972 की अनुसूची-I में शामिल किया है।
  • यह ‘वन्यजीवों एवं वनस्पतियों की लुप्तप्राय प्रजातियों के अंतर्राष्ट्रीय व्यापार पर अभिसमय’ (CITES ) की परिशिष्ट-I में सूचीबद्ध है।

अन्य तथ्य

  • भारतीय गौर को इंडियन बाइसन भी कहा जाता है, इसका वैज्ञानिक नाम बोस गौरस (Bos Gaurus) है।
  • गौर स्वभाव से शर्मीले होते हैं। पालतू गौर को 'गायल' या 'मिथुन' कहा जाता है। विदित है कि गौर गोवा और बिहार का राज्य पशु है।
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