प्रारंभिक परीक्षा – INS अंजदीप मुख्य परीक्षा : सामान्य अध्ययन प्रश्नप्रत्र 3 - सीमावर्ती क्षेत्रों में सुरक्षा चुनौतियाँ एवं उनका प्रबंधन |
सन्दर्भ
- हाल ही में, एंटी-सबमरीन वारफेयर शैलो वॉटर क्राफ्ट (ASW SWC) परियोजना के तीसरे जहाज 'अंजदीप' का शुभारम्भ मैसर्स एल एंड टी, कट्टुपल्ली में किया गया।
INS अंजदीप
- INS अंजदीप, आठ एंटी-सबमरीन वारफेयर शैलो वाटर क्राफ्ट (ASW-SWC) श्रृंखला का तीसरा जहाज है।
- इस जहाज का नाम कारवार से दूर स्थित अंजदीप द्वीप के सामरिक समुद्री महत्व को दर्शाने के लिए अंजदीप रखा गया है।
- यह द्वीप एक बांध (ब्रेकवाटर) के जरिए मुख्य भूमि से जुड़ा हुआ है और INS कदंबा का हिस्सा है।
एंटी-सबमरीन वारफेयर शैलो वॉटर क्राफ्ट (ASW SWC) परियोजना
- अप्रैल 2019 में रक्षा मंत्रालय और गार्डन रीच शिपबिल्डर्स एंड इंजीनियर्स (GRSE), कोलकाता के बीच आठ ASW-SWC जहाजों के निर्माण के लिए अनुबंध पर हस्ताक्षर किए गए थे।
- INS अर्नाला आठ स्वदेश निर्मित ASW-SWC में से पहला था।
- ASW SWC परियोजना के तहत चार जहाजों का निर्माण GRSE, कोलकाता में किया जा रहा है तथा शेष चार जहाजों के निर्माण के लिए मैसर्स एल एंड टी शिपबिल्डिंग, कट्टुपल्ली के साथ उप-अनुबंध किया गया है।
- ASW-SWC जहाजों को तटीय जल में पनडुब्बी रोधी संचालन, कम तीव्रता वाले समुद्री संचालन, खदान बिछाने और तटीय जल में उपसतह निगरानी करने के लिए डिज़ाइन किया गया है।
- ASW SWC जहाजों में 25 समुद्री मील की अधिकतम गति और 1800 एनएम की सहनशक्ति के साथ 900 टन की विस्थापन क्षमता है।