प्रारम्भिक परीक्षा – इसरो (ISRO) वर्ष 2040 तक भेजेगा चंद्रमा पर पहला अंतरिक्ष यात्री मुख्य परीक्षा - सामान्य अध्ययन, पेपर- 3 |
संदर्भ
इसरो अध्यक्ष S.सोमनाथ के अनुसार, भारत वर्ष 2040 तक चंद्रमा पर पहला अंतरिक्ष यात्री भेजेगा तथा वर्ष 2035 तक एक स्वदेशी अंतरिक्ष स्टेशन स्थापित करेगा।
प्रमुख बिंदु
- इसरो का लक्ष्य गगनयान कार्यक्रम के साथ अंतरिक्ष अन्वेषण में अगला कदम रखना है।
'गगनयान' मिशन
- यह इसरो का पहला मानवयुक्त मिशन है, जिसका लक्ष्य वर्ष 2025 निर्धारित किया गया है।
- यह तीन दिवसीय मिशन है, जिसके तहत मानव को 400 किलोमीटर की ऊंचाई पर पृथ्वी की निचली कक्षा में भेजना और उन्हें सुरक्षित रूप से पृथ्वी पर वापस लाना शामिल है।
विशेषता :-
- इस मिशन के लिए भारतीय वायु सेना के चार पायलट बेंगलुरु में अंतरिक्ष यात्री प्रशिक्षण सुविधा में प्रशिक्षित किए जा रहे हैं।
- इसमें 2 से 3 भारतीय अंतरिक्ष यात्रियों के दल को लो अर्थ में भेजे जाने की योजना है।
- इसके बाद उन्हें भारतीय जलक्षेत्र में पूर्वनिर्धारित जगह पर सुरक्षित रूप से उतारा जाएगा।
- मानवयुक्त अंतरिक्ष मिशन में महत्वपूर्ण तकनीक विकास को शामिल किया गया है, जिसमें एक मानव-रेटेड लांच वाहन (HLVM-3), एक क्रू माड्यूल (CM), सर्विस माड्यूल (SM) और मानव के रहने के अनुकूल एक आर्बिटल माड्यूल है।
क्रू माड्यूल (CM):-
- क्रू माड्यूल अंतरिक्ष में चालक दल के लिए पृथ्वी जैसे वातावरण वाला रहने योग्य स्थान है। इसे अंतरिक्ष में सुरक्षित पुनः प्रवेश के लिए डिजाइन किया गया है।
- सुरक्षा उपायों में आपात स्थिति के लिए क्रू एस्केप सिस्टम (सीईएस) को शामिल किया गया है।
परीक्षण:-
- परीक्षण वाहन (Test Vehicle Abort Mission-1:TV-D1)) की पहली विकास उड़ान 21 अक्टूबर, 2023 को लांच की गई थी, जिसमें क्रू एस्केप सिस्टम का सफलतापूर्वक प्रदर्शन किया।इसके बाद क्रू माड्यूल को अलग किया गया और बंगाल की खाड़ी से भारतीय नौसेना ने इसे सुरक्षित प्राप्त किया गया।
- इसरो का यह सफल परीक्षण मानव अंतरिक्ष मिशन के लिए महत्वपूर्ण है।
प्रारंभिक परीक्षा प्रश्न:- भारतीय अंतरिक्ष एजेंसी (ISRO) कब तक चंद्रमा पर पहला अंतरिक्ष यात्री भेजेगा ?
(a) वर्ष 2025
(b) वर्ष 2030
(c) वर्ष 2040
(d) वर्ष 2050
उत्तर: (c)
मुख्य परीक्षा प्रश्न:- 'गगनयान' मिशन क्या है? इसके विशेषताओं का उल्लेख करें।
|