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मझगांव डॉक शिपबिल्डर्स को "नवरत्न" का दर्जा

चर्चा में क्यों ?

  • हाल ही में सार्वजनिक उद्यम विभाग ने मझगांव डॉक शिपबिल्डर्स को "नवरत्न" का दर्जा दिया।
  • मझगांव डॉक शिपबिल्डर्स यह दर्जा पाने वाला देश का 18वां सार्वजनिक उपक्रम बन गया है।

महारत्‍न, नवरत्‍न तथा मिनीरत्‍न

  • केंद्रीय सार्वजनिक क्षेत्र उद्यम (CPSE) को उन्हें होने वाले लाभ और नेट वर्थ के आधार पर तीन श्रेणियों में वर्गीकृत किया जाता है –
    1. महारत्‍न
    2. नवरत्‍न
    3. मिनीरत्‍न
      • मिनीरत्न को मिनीरत्न श्रेणी-I तथा मिनीरत्न श्रेणी-II में वर्गीकृत किया गया है। 

नवरत्‍न दर्जा प्राप्त करने के मानदंड

  • पहले से मिनीरत्न श्रेणी-I का दर्जा प्राप्त हो। 
  • विगत पाँच वर्षों में से तीन में समझौता ज्ञापन प्रणाली के तहत बहुत अच्छी या उत्कृष्ट रेटिंग प्राप्त की हो।
  •  निम्नलिखित छह प्रदर्शन मापदंडों में 60 अंक या उससे अधिक का स्कोर प्राप्त किया हो –
    1. प्रति शेयर कमाई-10 अंक
    2. शुद्ध पूंजी और शुद्ध लाभ- 25 अंक
    3. उत्पादन की कुल लागत के सापेक्ष जनशक्ति(Manpower) पर आने वाली लागत-15 अंक
    4. कारोबार पर ब्याज और करों से पहले अर्जित लाभ - 15 अंक
    5. नियोजित पूंजी के लिए मूल्यह्रास, ब्याज और करों से पहले अर्जित लाभ - 15 अंक
    6. अंतर-क्षेत्रीय प्रदर्शन- 20 अंक

नवरत्न दर्जा प्राप्त होने के लाभ 

  • केंद्रीय प्राधिकरण से अनुमोदन की आवश्यकता के बिना 1,000 करोड़ तक के महत्त्वपूर्ण निवेश निष्पादित करने का अधिकार 
  • प्रतिवर्ष अपनी नेटवर्थ का 30% तक आवंटित करने की अनुमति, लेकिन यह 1,000 करोड़ से कम रहे।
  • संयुक्त उद्यमों में भाग लेने, साझेदारी बनाने एवं विदेशी सहायक कंपनियाँ स्थापित करने का विकल्प 
  • इसके निदेशक मंडल को भारत एवं विदेशों में विलय तथा अधिग्रहण की अनुमति देने की शक्ति 
  • इसे विदेश में निवेश करने के लिए आर्थिक मामलों की कैबिनेट समिति से मंजूरी की आवश्यकता होगी

मझगांव डॉक शिपबिल्डर्स लिमिटेड 

  • यह मुंबई के मझगांव में स्थित एक शिपयार्ड है 
  • यह देश का सबसे बड़ा शिपयार्ड है 
  • इसकी स्थापना 14 मई 1774 को हुई थी 
  • वर्ष 1934 में इसे को पब्लिक कंपनी के तौर पर रजिस्टर्ड कराया गया. और वर्ष 1960 में यह कंपनी केंद्र सरकार के नियंत्रण में आ गई
  • वर्तमान में इसे रक्षा मंत्रालय द्वारा प्रबंधित किया जाता है 
  • यह मिनीरत्न श्रेणी I का सार्वजनिक क्षेत्र का उपक्रम है
  • यह भारतीय नौसेना के लिए युद्धपोतों और पनडुब्बियों तथा अपतटीय प्लेटफार्मों और अपतटीय तेल ड्रिलिंग के लिए संबंधित सहायक जहाजों का निर्माण करती है।
  • यह कार्गो शिप और पैसेंजर शिप का निर्माण भी करती है
  • इसके द्वारा निर्मित पहला युद्धपोत आईएनएस नीलगिरि था, इसे वर्ष 1966 में लॉन्च किया गया और वर्ष 1972 में कमीशन किया गया।
  • वर्ष 1992 भारत की पहली स्वदेश निर्मित पनडुब्बी आईएनएस शल्की का निर्माण भी मझगांव डॉक शिपबिल्डर्स लिमिटेड ने किया था 

प्रश्न - मझगांव डॉक शिपबिल्डर्स लिमिटेड की स्थापना किस वर्ष हुई थी ?

(a) 1774 

(b) 1874 

(c) 1947 

(d) 1974

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