जाट समुदाय से सम्बंधित सर छोटू राम जी का जन्म 24 नवम्बर 1881 को ब्रिटिश भारत के पंजाब प्रांत के रोहतक में हुआ था। इनका वास्तविक नाम राय रिछपाल था।
वे स्वतंत्रता पूर्व भारत के एक प्रमुख राजनेता व विचारक थे। इन्होंने किसानों के अधिकारों के लिये तथा ग़रीबों के हित में विशेष कार्य किया, जिसके लिये इन्हें वर्ष 1937 में नाइट की उपाधि प्रदान की गई।
वर्ष 1915 में चौधरी छोटूराम जी ने 'जाट गजट' नाम का क्रांतिकारी अखबार शुरू किया, जो हरियाणा का सबसे पुराना अखबार है। 'ठग बाज़ार की सैर' और 'बेचारा किसान' इनके द्वारा लिखे गए प्रसिद्ध लेख हैं।
इन्होंने आधुनिक हरियाणा क्षेत्र में प्रथम विश्व युद्ध के दौरान और पंजाब के पूर्वी भाग में द्वितीय विश्व युद्ध के दौरान ब्रिटिश सेना के लिये बड़े पैमाने पर भर्ती अभियान का नेतृत्व किया।
अगस्त, 1920 में इन्होंने कांग्रेस छोड़ दी, क्योंकि वे गांधी जी के असहयोग आंदोलन से सहमत नहीं थे। उनका विचार था कि इस आंदोलन से किसानों का हित नहीं होगा। वे नेशनल यूनियनिस्ट पार्टी के सह-संस्थापक थे।
नारायण सिंह तेहलान द्वारा लिखित पुस्तक ‘दीनबंधु का सफरनामा’ इनके जीवन पर आधारित है।