
- यह एक खगोलीय घटना है, जिसमें दो चंद्र घटनाएँ—सुपरमून और ब्लू मून—एक साथ घटित होती हैं।
- यह घटना खास इसलिए मानी जाती है क्योंकि दोनों घटनाएँ, जो खुद में ही दुर्लभ होती हैं, एक साथ हो रही होती हैं।
- "सुपरमून" शब्द 1979 में ज्योतिषी रिचर्ड नोले द्वारा गढ़ा गया था।
सुपरमून (Supermoon)
- जब पूर्णिमा (फुल मून) के समय चंद्रमा पृथ्वी के सबसे करीब (perigee) पर होता है, तो इसे "सुपरमून" कहते हैं।
- चंद्रमा की कक्षा अंडाकार होती है, जिससे चंद्रमा कभी पृथ्वी से दूर और कभी नजदीक होता है।
- जब चंद्रमा पेरिजी (सबसे नजदीक बिंदु) पर होता है, तो वह 14% ज्यादा करीब होता है और 30% ज्यादा बड़ा और 14% ज्यादा चमकदार दिखाई देता है।
- सुपरमून में चंद्रमा सामान्य से कहीं ज्यादा बड़ा और चमकदार नजर आता है, जिससे यह दृश्य रूप से अधिक प्रभावी होता है।
ब्लू मून (Blue Moon)
"ब्लू मून" का मतलब यह नहीं कि चंद्रमा नीला दिखाई देगा। यह एक खगोलीय परिभाषा है:
- आमतौर पर, एक महीने में एक ही पूर्णिमा होती है।
- लेकिन अगर एक ही कैलेंडर महीने में दो बार पूर्णिमा हो, तो दूसरी पूर्णिमा को "ब्लू मून" कहा जाता है।
- यह घटना लगभग हर 2.5 साल में एक बार होती है।
- इसके अलावा, जब किसी एक मौसम में सामान्यतः तीन पूर्णिमा चंद्रमा होते हैं, लेकिन चौथा पूर्णिमा आता है, तो उसे सीजनल ब्लू मून कहा जाता है।
- ब्लू मून का नाम सिर्फ एक दुर्लभता को दर्शाता है, चंद्रमा का रंग वास्तविक रूप से नीला नहीं होता। हालांकि, कभी-कभी वातावरण में कुछ विशेष परिस्थितियाँ (जैसे ज्वालामुखीय राख) होने पर चंद्रमा में हल्का नीला रंग दिखाई दे सकता है।
सुपर ब्लू मून
- जब ब्लू मून और सुपरमून एक साथ घटित होते हैं, तो इसे सुपर ब्लू मून कहा जाता है।
- यह एक बहुत ही दुर्लभ घटना है क्योंकि दोनों घटनाएँ (सुपरमून और ब्लू मून) जब एक साथ घटित होती हैं, तो यह एक अद्वितीय खगोलीय दृश्य उत्पन्न करता है।
- यह एक दुर्लभ घटना होती है, जो हर 10-20 साल में एक बार देखने को मिलती है।
सुपर ब्लू मून का प्रभाव
- चंद्रमा सामान्य से लगभग 14% बड़ा और 30% ज्यादा चमकदार दिखता है।
- समुद्र में ज्वार-भाटा (High Tide) ज्यादा ऊँचा हो सकता है।
- फोटोग्राफर्स और स्काईवॉचर्स के लिए यह एक खूबसूरत अवसर होता है।