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संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद के सहायक निकाय

संदर्भ

हाल ही में, संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद् में भारत के स्थाई प्रतिनिधि द्वारा घोषणा की गई कि भारत संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद् (UNSC) की तीन प्रमुख सहायक निकायों की अध्यक्षता करेगा।

प्रमुख बिंदु

  • भारत वर्ष 2022 के लिये आतंकवाद-रोधी समिति (Counter-Terrorism Committee), तालिबान प्रतिबंध समिति (Taliban Sanctions Committee) और लीबिया प्रतिबंध समिति (Libya Sanctions committee) की अध्यक्षता करेगा।
  • आतंकवाद-रोधी समिति की अध्यक्षता करना भारत के लिये कई मामलों में महत्त्वपूर्ण है क्योंकि भारत न सिर्फ आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई में सबसे आगे रहा है बल्कि भारत आतंकवाद से सबसे पीड़ित देशों में से भी एक रहा है।
  • अफगानिस्तान के शांति, सुरक्षा, विकास और प्रगति के लिये अपनी रुचि और प्रतिबद्धता को ध्यान में रखते हुए भारत के लिये तालिबान प्रतिबंध समिति हमेशा से उच्च प्राथमिकता रही है।
  • लीबिया और अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर शांति प्रक्रिया पर ध्यान केंद्रित करने के लिये भारत लीबिया प्रतिबंध समिति की अध्यक्षता करेगा।

आतंकवाद-रोधी समिति 

इसका गठन वर्ष 2001 में न्यूयॉर्क में 9/11 हमले के बाद किया गया था। भारत ने वर्ष 2011-12 में भी इस समिति की अध्यक्षता की थी। यह समिति संयुक्त राष्ट्र के सदस्यों को उनकी सीमाओं के भीतर या बाहर किसी भी प्रकार की आतंकवादी गतिविधियों को रोकने में सहायता करती है और विभिन्न स्तरों पर मार्गदर्शन प्रदान करती है। 

तालिबान प्रतिबंध समिति

17 जून 2011 को संकल्प 1988 (2011) के अनुसार, सुरक्षा परिषद् ने तालिबान से जुड़े किसी भी व्यक्ति, समूहों, उपक्रमों और संस्थाओं के साथ प्रतिबंधों की निगरानी के लिये इस समिति की स्थापना की। इसे 1988 की प्रतिबंध समिति के नाम से भी जाना जाता है। 

लीबिया प्रतिबंध समिति

इस समिति की स्थापना 26 फरवरी 2011 को संकल्प 1970 के अनुसार, लीबिया के खिलाफ प्रतिबंधों की देखरेख करने के लिये की गई थी। इसे 1970 की प्रतिबंध समिति भी कहा जाता है।

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