प्रारम्भिक परीक्षा – ब्रह्मांड की सबसे चमकीली वस्तु ‘क्वासर’ मुख्य परीक्षा - सामान्य अध्ययन, पेपर- 1 (भूगोल) |
चर्चा में क्यों
- यूरोपीय दक्षिणी वेधशाला ने 19 फरवरी 2024 को एक अत्यंत चमकीली वस्तु क्वासर की खोज की है।
- इसका नाम J0529-4351 है। यह अंतरिक्ष में अब तक देखी गई सबसे चमकदार वस्तु है।
क्वासर (Quasar) :-
- यह आकाशगंगा के अत्यंत सक्रिय और चमकदार कोर है, जो सुपरमैसिव ब्लैक होल द्वारा संचालित होते हैं।
- इसे ब्रह्मांडीय तूफान भी कहते हैं।
- यह ब्लैक होल के चारों ओर घूमने वाली डिस्क के सामान दिखता है।
- क्वासर में खींचा जाने वाला पदार्थ इतनी अधिक ऊर्जा उत्सर्जित करता है कि यह सूर्य से 500 ट्रिलियन गुना अधिक चमकीला दिखता है।
- इसे यूरोपीय दक्षिणी वेधशाला के द्वारा आकाश सर्वेक्षण के दौरान वर्ष 1980 में देखा गया था। उस समय इसे एक तारा माना गया था।
सुपरमैसिव ब्लैक:-
- सुपरमैसिव ब्लैक होल अपने अत्यधिक मजबूत गुरुत्वाकर्षण द्वारा खींचे गए पदार्थ को निगल कर बढ़ते रहते हैं।
- ब्लैक होल स्वयं कोई प्रकाश या ऊर्जा उत्सर्जित नहीं करते बल्कि ये जिस सामग्री का उपभोग करते हैं, उसी से प्रकाश उत्सर्जित करतें हैं।
- इस ब्लैक होल का द्रव्यमान 17 अरब सूर्यों के बराबर है।
- क्वासर एक वर्ष में 370 सूर्य के बराबर लगभग एक दिन में निगल रहा है।
- क्वासर पृथ्वी से 12 अरब प्रकाश वर्ष दूर है।
- एक प्रकाश वर्ष 5.8 ट्रिलियन मील का होता है।
प्रारंभिक परीक्षा प्रश्न:- हाल ही में यूरोपीय दक्षिणी वेधशाला ने द्वारा किसे ब्रह्मांड की सबसे चमकीली वस्तु कहा गया है?
(a) निहारिका
(b) उल्का पिण्ड
(c) ध्रुव तारा
(d) क्वासर
उत्तर - (d)
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स्रोत: The Indian EXPRESS