New
IAS Foundation Course (Prelims + Mains): Delhi & Prayagraj | Call: 9555124124

IMPORTANT TERMINOLOGY

पाठ्यक्रम में उल्लिखित विषयों की पारिभाषिक शब्दावलियों एवं देश-दुनिया में चर्चा में रही शब्दावलियों से परीक्षाओं में प्रश्न पूछे जाने का चलन तेजी से बढ़ा है। यह खंड वस्तुनिष्ठ और लिखित दोनों परीक्षाओं के लिए महत्वपूर्ण है। शब्दावलियों से परिचय अभ्यर्थियों को कम परिश्रम से अधिक अंक लाने में मदद करता है। इस खंड में प्रतिदिन एक महत्वपूर्ण शब्दावली से परिचय कराया जाता है।

प्रतिदिन की सबसे महत्वपूर्ण News पढ़ने के लिए यहाँ Click करें

1. क्राउडिंग आउट इफेक्ट (Crowding Out Effect)

23-Apr-2024

इस आर्थिक सिद्धांत के अनुसार जब सार्वजनिक क्षेत्र में निवेश व्यय अधिक किया जाता है, तब निजी क्षेत्र का निवेश व्यय कम हो जाता है। अधिक सार्वजनिक निवेश व्यय के लिए सरकार द्वारा ऋण की मांग में वृद्धि से ब्याज दरें बढ़ जाती हैं। इस स्थिति में निजी निवेशकों को पूंजी प्राप्ति के लिए अधिक ब्याज चुकाना पड़ता है। परिणामस्वरूप निजी क्षेत्र का निवेश व्यय हतोत्साहित हो जाता है।

2. आयात आवरण (Import Cover)

22-Apr-2024

आयात आवरण मुद्रा की स्थिरता जांचने का एक महत्वपूर्ण संकेतक है। यह आयात के उन आगामी महीनों की संख्या की जानकारी देता है, जिसे केंद्रीय बैंक के पास उपलब्ध विदेशी मुद्रा भंडार से कवर किया जा सकता है। किसी देश के लिए मुद्रा की स्थिरता हेतु न्यूनतम 8 से 10 महीने का आयात आवरण आवश्यक होता है।

3. मांग-प्रेरित मुद्रास्फीति (Demand-pull inflation)

20-Apr-2024

किसी अर्थव्यवस्था में जब साधन लागत परिवर्तित हुए बिना वस्तुओं और सेवाओं की मांग उनकी आपूर्ति की अपेक्षा अधिक हो जाती है, जिससे उनकी कीमतें बढ़ जाती है। इस स्थिति को 'मांग-प्रेरित मुद्रास्फीति' कहते हैं। सरकारी व्यय में वृद्धि, ब्याज दर में कमी, उच्च क्रय शक्ति आदि इस प्रकार की मुद्रास्फीति के प्रमुख कारण हैं।

4.  विधि द्वारा स्थापित प्रक्रिया (Procedure Established by Law)

19-Apr-2024

इस सैद्धांतिक वाक्यांश का उल्लेख भारतीय संविधान के अनुच्छेद 21 में किया गया है, जिसमें कहा गया कि किसी भी व्यक्ति को कानून द्वारा स्थापित प्रक्रिया के अलावा उसके जीवन या व्यक्तिगत स्वतंत्रता के अधिकार से वंचित नहीं किया जा सकता है। यदि सरकार किसी व्यक्ति के इन अधिकारों से वंचित करते समय निर्धारित कानूनी प्रक्रियाओं का पालन करती है, तो उसे वैध माना जाएगा, भले ही सरकार का यह कदम उसके लिए अनुचित या अन्यायपूर्ण प्रतीत हो।

5. बॉण्ड प्रतिफल (Bond yield)

18-Apr-2024

यह निवेशक को बॉण्ड में निवेश पर मिलने वाला प्रतिफल (रिटर्न) है। यह प्रतिफल बॉण्ड की कीमत पर निर्भर करता है, जो इसकी मांग से प्रभावित होती है। बॉण्ड कीमत और बॉण्ड प्रतिफल विपरीत रूप से संबंधित हैं; जैसे ही बांड की कीमत बढ़ती है, इसका बॉण्ड प्रतिफल कम हो जाता है। प्रतिफल RBI की मौद्रिक नीति, सरकार की वित्तीय स्थिति, वैश्विक बाज़ार की स्थिति, मुद्रास्फीति की दर आदि से प्रभावित होता है।

6. ग्रीन टैक्सोनॉमी (Green Taxonomy)

17-Apr-2024

यह  एक ऐसी प्रणाली है, जिसका उद्देश्य यह निर्धारित करना है कि कोई निवेश टिकाऊ/हरित के रूप में वर्गीकृत किया गया है या नहीं। यह प्रमुख जलवायु, सामाजिक, हरित/टिकाऊ उद्देश्यों को पूरा करने वाली गतिविधियों का आकलन करने के लिए सीमाओं और लक्ष्यों का उपयोग करती है। यह उन लोगों के लिए स्पष्टता प्रदान करती है, जो हरित परियोजनाओं और पहलों में निवेश करते हैं।

7. श्रिंकफ्लेशन (Shrinkflation)

16-Apr-2024

यह छिपी हुई मुद्रास्फीति का एक रूप है। इसमें किसी उत्पाद की कीमत को कम किए बिना उस उत्पाद के आकार को कम कर दिया जाता है। जैसे- किसी बिस्किट के पैकेट की कीमत को बिना बदले उसमें बिस्किट की संख्या कम कर देना।  यह कंपनियों का लाभ बढ़ाने और बढ़ती इनपुट लागतों को समायोजित करने की एक रणनीति होती है।

8. मुक्त व्यापार समझौता (Free Trade Agreement)

15-Apr-2024

यह दो या दो से अधिक देशों के बीच आयात व निर्यात की बाधाओं को कम या समाप्त करने से संबंधित एक समझौता है। इसके तहत टैरिफ, कोटा और विभिन्न गैर-टैरिफ बाधाओं को कम या समाप्त करके सीमाओं के पार वस्तुओं एवं सेवाओं की खरीद-बिक्री को सुविधाजनक बनाया जाता है। इसका उद्देश्य आर्थिक सहयोग को बढ़ावा देना है।

9. ग्लोबल बॉइलिंग (Global boiling)

13-Apr-2024

इस शब्द का उपयोग ग्लोबल वार्मिंग के चरम और इसके तत्काल परिणामों पर जोर देने के लिए किया जाता है। पृथ्वी के बढ़ते तापमान से जब चरम मौसम की घटनाएं (जैसे- तूफान, सूखा, लू, बाढ़), समुद्र के स्तर में वृद्धि और अन्य पर्यावरणीय परिवर्तन त्वरित दर पर होते हैं; तो इन स्थितियों की अभिव्यक्ति के लिए ग्लोबल बॉइलिंग शब्द प्रयुक्त होता है।

10. उपचारात्मक याचिका (Curative Petition)

12-Apr-2024

यह याचिका तब दाखिल की जाती है, जब राष्ट्रपति के पास भेजी गई दया याचिका और उच्चतम न्यायालय में दाखिल पुनर्विचार याचिका खारिज हो जाए। सुप्रीम कोर्ट ने अनुच्छेद-142 के तहत प्राप्त ‘पूर्ण न्याय करने की शक्ति’ का इस्तेमाल करते हुए उपचारात्मक याचिका दाखिल करने का अधिकार दिया। उपचारात्मक याचिका की अवधारणा वर्ष 2002 में रूपा अशोक हुरा बनाम अशोक हुरा मामले की सुनवाई के दौरान सामने आई।

« »
  • SUN
  • MON
  • TUE
  • WED
  • THU
  • FRI
  • SAT
Have any Query?

Our support team will be happy to assist you!

OR