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बाजार सूचकांक प्रदाताओं (इंडेक्स प्रोवाइडर) का विनियमन 

प्रारंभिक परीक्षा - सूचकांक प्रदाता, SEBI
मुख्य परीक्षा : सामान्य अध्ययन प्रश्नप्रत्र:2 - सरकारी नीतियाँ

सन्दर्भ 

  • हाल ही में केंद्र सरकार ने, भारतीय प्रतिभूति विनिमय बोर्ड (सेबी) से  बाजार सूचकांक प्रदाताओं को विनियमित करने को कहा है।

सूचकांक प्रदाता (इंडेक्स प्रोवाइडर)

  • सूचकांक प्रदाता, वे संस्थान हैं, जो बाजार से संबंधित इंडेक्स बनाते और प्रबंधित करते हैं। 
  • सूचकांक प्रदाता की महत्वपूर्ण भूमिकाओं में से एक, बाजारों को वर्गीकृत और परिभाषित करना है।
  • सूचकांक प्रदाता, उन नियमों को बनाते हैं, जो यह तय करते हैं कि प्रत्येक सूचकांक में कौन सी प्रतिभूतियां शामिल की जाएं, सूचकांक को कैसे प्रबंधित किया जाएगा और समय के साथ उस सूचकांक से प्रतिभूतियों को कैसे जोड़ा या हटाया जाये।
  • S&P Dow Jones, MSCI और ब्लूमबर्ग विश्व स्तर पर प्रसिद्ध संस्थानों में से कुछ हैं, जो इंडेक्स प्रदान करते हैं।
  • भारत में, यह गतिविधि आम तौर पर स्टॉक एक्सचेंजों की सहायक कंपनियों द्वारा की जाती है। 

भारतीय प्रतिभूति और विनिमय बोर्ड (SEBI)

  • भारतीय प्रतिभूति और विनिमय बोर्ड, भारत में प्रतिभूति और वित्त का नियामक बोर्ड है।
  • SEBI की स्थापना भारतीय प्रतिभूति और विनिमय बोर्ड अधिनियम, 1992 के प्रावधानों के तहत 12 अप्रैल, 1992 को हुई थी।
  • इसका मुख्यालय मुंबई में है।

SEBI के कार्य - 

  • SEBI का प्रमुख उद्देश्य भारतीय स्टाक निवेशकों के हितों का संरक्षण करना और प्रतिभूति बाजार के विकास तथा नियमन को प्रवर्तित करना है। 
  • स्टॉक ब्रोकर्स, शेयर ट्रान्सफर एजेंट्स, ट्रस्टीज, मर्चेंट बैंकर्स, गोल्ड एक्सचेंज, पोर्टफोलियो मैनेजर आदि के कार्यो का नियमन करना एवं उन्हें पंजीकृत करना।
  • म्यूचुअल फण्ड की सामूहिक निवेश योजनाओ को पंजीकृत करना तथा उनका नियमन करना।
  • प्रतिभूतियों के बाजार से सम्बंधित अनुचित व्यापार व्यवहारों (Unfair Trade Practices) को समाप्त करना।
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