हाल ही में, इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (ICMR) ने उत्तर प्रदेश को COVID-19 महामारी के लिये पूल परीक्षण शुरू करने की अनुमति दी है। वस्तुतः यह अनुमति परीक्षणों की संख्या बढ़ाने के लिये दी गई है। इससे परीक्षणों पर होने वाला ख़र्च भी कम होगा और परीक्षण किट भी कम लगेंगी।
- इस अनुमति के बाद उत्तर प्रदेश पूल परीक्षण की शुरुआत करने वाला प्रथम राज्य बन गया है। अंडमान एवं निकोबार पूल परीक्षण करने वाला प्रथम केंद्रशासित प्रदेश था।
- पूल परीक्षण में कुछ व्यक्तियों के नमूने एक-साथ एक नली में रखे जाते हैं, फिर पी.सी.आर. परीक्षण द्वारा इनकी स्क्रीनिंग होती है। सामान्यतः एक बार में पाँच से अधिक व्यक्तियों के नमूने नहीं लिये जाते हैं।
- यदि पूल परीक्षण का परिणाम पॉज़िटिव आता है तो सभी नमूनों का व्यक्तिगत परीक्षण किया जाएगा, यदि परिणाम निगेटिव आता है तो सभी नमूनों को निगेटिव मान लिया जाएगा।
- ध्यातव्य है कि यदि किसी क्षेत्र में 5% से ज़्यादा लोग COVID-19 पॉज़िटिव पाए गए हैं तो वहाँ पूल परीक्षण करने की सलाह नहीं दी जाती है।