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Sanskriti Mains Mission: GS Paper - 4

डॉ. भीमराव आम्बेडकर ने सामाजिक समता को भारत की उन्नति एवं प्रगति का आधार माना है। सामाजिक समरसता को बनाये रखने के संदर्भ में उनके विचार कहाँ तक प्रासंगिक है? विवेचना कीजिये। (250 शब्द)

15-Feb-2021 | GS Paper - 4

Solutions:

उत्तर प्रारूप:

भूमिका (40 - 50 शब्द )

डॉ. भीमराव आम्बेडकर का संक्षेप में परिचय देते हुए तत्कालीन भारतीय समाज में विद्यमान असमानता का उल्लेख करें।

मुख्य भाग (140 - 160 शब्द )

  • डॉ. भीमराव आम्बेडकर द्वारा सामाजिक समता लाने के संदर्भ में किये गये प्रयासों जैसे- राजनीतिक अधिकारों की माँग, जाति प्रथा का विरोध इत्यादि की चर्चा करें।
  • देश की प्रगति एवं समृद्धि तथा लोकतंत्र की सफलता के लिए समाज के सभी वर्गों के सहयोग की आवश्यकता के संदर्भ में आम्बेडकर के विचारों को स्पष्ट करें।  

निष्कर्ष (40 - 50 शब्द )

देश की जनसंख्या को देश के नागरिक स्वरूप में परिवर्तित करने में सामाजिक समता की आवश्यकता को स्पष्ट करते हुए संतुलित निष्कर्ष लिखें।



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