शॉर्ट न्यूज़: 27 नवंबर, 2020
री-इंवेस्ट 2020
ट्रांसजेंडर व्यक्तियों के लिये राष्ट्रीय पोर्टल
पूर्वोत्तर मानसून और ला-नीना
न्याय बंधु एप का आई.ओ.एस. संस्करण
री-इंवेस्ट 2020
मुख्य बिंदु
- प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा 26 नवम्बर, 2020 को ‘वैश्विक नवीकरणीय ऊर्जा निवेश बैठक और प्रदर्शनी’ (Renewable Energy Investment Meeting and Expo : RE-Invest) के तीसरे सम्मलेन का उद्घाटन किया गया।
- यह सम्मेलन नवीन एवं नवीकरणीय ऊर्जा मंत्रालय द्वारा आयोजित किया जाता है।
री-इंवेस्ट 2020
- री-इंवेस्ट 2020 का विषय 'सतत् ऊर्जा संक्रमण के लिये नवाचार’ है। इसमें नवीकरणीय और भविष्य की ऊर्जा के विकल्पों पर सम्मेलन के साथ-साथ निर्माताओं, डेवलपर्स, निवेशकों व नवोन्मेषकों की एक प्रदर्शनी का भी आयोजन किया गया।
- इसका उद्देश्य नवीकरणीय ऊर्जा के विकास व प्रसार में वृद्धि करना तथा वैश्विक निवेशक समुदाय को भारतीय ऊर्जा हितधारकों के साथ जोड़ने के विश्वव्यापी प्रयास को तीव्र करना है।
- साथ ही, वर्ष 2015 और 2018 में आयोजित पहले दो संस्करणों की सफलता पर आगे की रणनीति बनाना और नवीकरणीय ऊर्जा में निवेश को बढ़ावा देने के लिये एक अंतर्राष्ट्रीय मंच प्रदान करना है।
अन्य तथ्य
- वर्तमान में भारत की अक्षय ऊर्जा क्षमता विश्व में चौथी सबसे बड़ी है। भारत में अक्षय ऊर्जा क्षमता वर्तमान में 136 गीगावॉट है, जो भारत की कुल क्षमता का लगभग 36% है। वर्ष 2022 तक अक्षय ऊर्जा क्षमता का हिस्सा बढ़कर 220 गीगावॉट तक हो जाएगा।
- वर्ष 2017 के बाद से भारत की वार्षिक अक्षय ऊर्जा क्षमता वृद्धि कोयला आधारित तापीय ऊर्जा से अधिक है।
- पिछले 6 वर्षों में भारत की स्थापित अक्षय ऊर्जा क्षमता में ढाई गुना की वृद्धि हुई है, जबकि इसी समयावधि में स्थापित सौर ऊर्जा क्षमता में 13 गुना की वृद्धि हुई है।
ट्रांसजेंडर व्यक्तियों के लिये राष्ट्रीय पोर्टल
मुख्य बिंदु
- हाल ही में, केंद्रीय सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्री श्री थावरचंद गहलोत ने ‘ट्रांसजेंडर व्यक्तियों के लिये राष्ट्रीय पोर्टल' लॉन्च किया।
- यह पोर्टल देश में कहीं से भी किसी ट्रांसजेंडर व्यक्ति को प्रमाण पत्र और पहचान पत्र के लिये डिजिटली आवेदन करने में मदद करेगा।
- इसका सबसे महत्त्वपूर्ण लाभ है कि यह ट्रांसजेंडर व्यक्ति को किसी भी भौतिक इंटरफेस के बिना और किसी भी कार्यालय में जाए बिना आई-कार्ड प्राप्त करने में मदद करेगा।
- यह पोर्टल इस समुदाय के बहुत से लोगों को आगे लाने और उनकी स्वयं की पहचान के अनुसार ट्रांसजेंडर प्रमाणपत्र व पहचान पत्र प्राप्त करने में मदद करेगा, जो कि ट्रांसजेंडर व्यक्ति (अधिकारों का संरक्षण) अधिनियम, 2019 का एक महत्त्वपूर्ण प्रावधान है।
गरिमा गृह
- गुजरात के वडोदरा में ट्रांसजेंडर व्यक्तियों के लिये एक आश्रय गृह 'गरिमा गृह' का उद्घाटन किया गया है, जो अन्य सुविधाओं के अलावा इस समुदाय के कौशल विकास और क्षमता-निर्माण में सहायता प्रदान करेगा।
- ट्रांसजेंडर व्यक्तियों की स्थिति में सुधार के लिये प्रायोगिक आधार पर देश में 13 आश्रय स्थल स्थापित करने और ट्रांसजेंडर व्यक्तियों के लिये सुविधाओं का विस्तार करने के लिये 10 शहरों की पहचान की गई है।
ट्रांसजेंडर व्यक्ति (अधिकारों का संरक्षण) अधिनियम, 2019
- ध्यातव्य है कि 10 जनवरी, 2020 को ट्रांसजेंडर व्यक्ति (अधिकारों का संरक्षण) अधिनियम, 2019 प्रभावी हुआ। इस अधिनियम के प्रावधानों को लागू करने के लिये सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्रालय ने ट्रांसजेंडर व्यक्ति (अधिकारों का संरक्षण) नियम, 2020 जारी किया।
पूर्वोत्तर मानसून और ला-नीना
- भारत के मौसम विभाग (IMD) के अनुसार, ला-नीना के कारण दक्षिणी प्रायद्वीपीय क्षेत्र में वर्षा की मात्रा में कमी आई है। ला-नीना की स्थिति में दक्षिण-पश्चिम मानसून के द्वारा होने वाली वर्षा पर सकारात्मक, जबकि पूर्वोत्तर मानसून से होने वाली वर्षा पर नकारात्मक प्रभाव पड़ता है।
- ला-नीना के कारण चक्रवात तंत्र तथा निम्न दबाव क्षेत्र की स्थिति अपनी सामान्य स्थिति के उत्तर में बनी रहती है। जिसके कारण पूर्वोत्तर मानसून पश्चिम की ओर बढ़ने की बजाए उत्तरी क्षेत्र में ही पुनरावृत्ति करता रहता है, इसलिये तमिलनाडु जैसे दक्षिणी क्षेत्रों में वर्षा की मात्रा में कमी आती है।
- गौरतलब है की भारत में वर्षा मुख्यतया दो मौसमों के दौरान होती है। देश में वार्षिक वर्षा का लगभग 75% हिस्सा जून और सितम्बर के मध्य दक्षिण-पश्चिम मानसून से प्राप्त होता है, जबकि पूर्वोत्तर मानसून, जिसे शीतकालीन मानसून भी कहा जाता है, दक्षिणी प्रायद्वीप तक ही सीमित रहता है। इसके द्वारा अक्तूबर से दिसम्बर माह के बीच तुलनात्मक रूप से कम वर्षा होती है।
- मध्य अक्तूबर तक दक्षिण-पश्चिम मानसून के निवर्तन के बाद वायु तेजी से दक्षिण-पश्चिम से उत्तर-पूर्व दिशा की ओर बहने लगती है। तमिलनाडु अपनी वार्षिक वर्षा का 48% इन महीनों के दौरान ही प्राप्त करता है। पूर्वोत्तर मानसूनी वर्षा लगभग पूरे दक्षिण भारत के लिये महत्त्वपूर्ण है और यह राज्य में कृषि गतिविधियों और जलाशय प्रबंधन के लिये महत्त्वपूर्ण है। पूर्वोत्तर मानसून के द्वारा अक्तूबर से दिसम्बर के मध्य कुछ दक्षिण एशियाई देशों, जैसे- मालदीव, श्रीलंका और म्यांमार में भी वर्षा होती है।
ला-नीना का प्रभाव
- ला-नीना के कारण पूर्वी प्रशांत महासागर का तापमान सामान्य से 3 से 5 डिग्री सेल्सियस तक कम हो जाता है तथा समुद्र से ठंडी पवनें चलती हैं जिसके कारण वैश्विक तापमान में कमी आती है। जबकि एल-नीनो के कारण समुद्र का तापमान 2 से 4 डिग्री सेल्सियस तक बढ़ जाता है तथा गर्म पवनें चलती हैं। ला-नीना का प्रभाव एल-नीनो के विपरीत होता है इसलिए इसे प्रति एल-नीनो भी कहा जाता है।
- ध्यातव्य है कि ला-नीना तथा एल-नीनो मध्य व पूर्वी प्रशांत महासागर में घटने वाली घटनाएँ हैं, जो बड़े पैमाने पर मौसम और जलवायु को प्रभावित करती हैं। भारत में ला-नीनो के कारण अत्यधिक वर्षा होती है, जबकि एल-नीनो के कारण यहाँ सूखे की स्थिति का सामना करना पड़ता है ।
न्याय बंधु एप का आई.ओ.एस. संस्करण
मुख्य बिंदु
- 26 नवम्बर को संविधान दिवस के अवसर पर न्याय बंधु एप के आई.ओ.एस. (iOS) वर्जन के साथ-साथ इसे उमंग प्लेटफ़ॉर्म पर जारी किया गया।
- अनुच्छेद 39ए के तहत नि:शुल्क कानूनी सहायता और न्याय तक पहुंच के अधिकार को पूरा करने के लिये न्याय बंधु मोबाइल एप केंद्रीय कानून एवं न्याय और आई.टी. मंत्री श्री रविशंकर प्रयाद द्वारा फरवरी, 2019 में प्रारम्भ किया गया था।
- उमंग प्लेटफ़ॉर्म पर न्याय बंधु एप के जुड़ने से 2 करोड़ से अधिक उपयोगकर्ता आसानी से मोबाइल आधारित कानूनी सेवा नि:शुल्क प्राप्त कर सकते हैं।
- न्याय विभाग ने ऐसे अधिवक्ताओं का एक डाटाबेस बनाने की परिकल्पना की है जो नि:शुल्क विधिक सहायता के रूप में अपना समय और सेवा देने के लिये सहमत हुए हैं।
उमंग एप
- उमंग (Unified Mobile Application for New-age Governance : UMANG) एप को भारत में मोबाइल गवर्नेंस को बढ़ावा देने के लिये इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय तथा राष्ट्रीय ई-गवर्नेंस डिवीजन द्वारा विकसित किया गया है।
- उमंग सभी भारतीय नागरिकों को केंद्रीय से लेकर स्थानीय सरकारी निकायों और अन्य नागरिक केंद्रित सेवाओं तक पहुँचने के लिये एकल प्लेटफ़ॉर्म प्रदान करता है।
- हाल ही में, उमंग एप के तीन वर्ष पूरे होने के अवसर पर कर्मचारी भविष्य निधि संगठन को प्लेटिनम पार्टनर पुरस्कार प्रदान किया गया है।